200 युवा छात्रों के बीच में कार्यशाला का आयोजन

रुद्रप्रयाग:अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता दिवस 2025 के अंतर्गत सहकारिता विभाग द्वारा युवाओं को सहकारिता के क्षेत्र में नेतृत्व क्षमता विकसित करने हेतु राजकीय महाविद्यालय अगस्त्यमुनि में 200 युवा छात्रों के बीच में कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें जिला सहायक निबंधक श्रीमती मोनिका चुनेरा द्वारा सर्वप्रथम सहकारिता के मूल स्वरूप एवं सहकारिता के इतिहास से युवाओं को परिचय कराया और सहकारिता कैसे युवाओं के माध्यम से संयुक्त राष्ट्र के सतत विकास लक्ष्यों (मुख्यतः सतत विकास लक्ष्य 1,8,13,17) की प्राप्ति करने में सहायक बन एक बेहतर विश्व का निर्माण कर सकता हैं.
इसकी जानकारी युवाओं को दी गई । साथ ही सहकारिता के सदस्य बनकर कैसे युवा अन्य विभाग की योजनाओं एवं सहकारिता की योजनाओं को मिलाकर एक होलिस्टिक एप्रोच के साथ सरकार की स्वरोजगार योजनाओं को कुशलता पूर्वक लाभ उठा सकते हैं इसकी जानकारी दी गई ।
इसके अतिरिक्त राज्य सरकार एवं केन्द्र सरकार की सहकारिता विभाग के माध्यम से संचालित योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी गयी, जिसमें मुख्यतः मुख्यमंत्री घस्यारी योजना, दीनदयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना की जानकारी दी गई एवं सहकारिता के मूल कार्यों के साथ साथ नवीन 54 कार्यों जैसे प्रधानमत्री जन औषधि केंद्र योजना, सी एस सी योजना ,प्रधानमंत्री समृद्धि केंद्र योजना, माधो सिंह भण्ड़ारी संयुक्त सहकारी खेती योजना, राज्य समेकित विकास परियोजना आदि की जानकारी दी गयी.
बैंक में लागू विभिन्न प्रकार के ऋण जैसे भवन ऋण, वाहन ऋण, सी.सी. लिमिट, स्वरोजगार क्रेडिट कार्ड योजना, किसान क्रेडिट कार्ड योजना, शिक्षा ऋण कर्मचारी ऋण योजना आदि एवं राज्य/केन्द्र सरकार की योजनाएं-मुख्यमंत्री पशुधन विकास योजना, ग्रामीण उद्यम वेग वृद्धि योजना, मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, मुख्यमंत्री सौर स्वरोजगार योजना, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन योजना, मुख्यमंत्री मोटरसाइकिल टैक्सी योजना आदि के लाभ उपस्थित युवाओं को बताये गये ।
कार्यक्रम में जिला युवा कल्याण अधिकारी वरद जोशी महाप्रबंधक उद्योग विभाग महेश प्रकाश दुग्ध विभाग एवं मत्स्य विभाग के अधिकारियों ने भी अपनी-अपनी विभागीय योजनाओं की जानकारी साझा की। उन्होंने बताया कि सहकारिता के सदस्य इन योजनाओ का लाभ उठाकर अपने रोजगार के अवसर बढ़ा सकते हैं। इस कार्यशाला का उद्देश्य युवाओं को सहकारिता के माध्यम से आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में आगे बढ़ाना था।

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