उत्तराखंड में आफत बन सकती है बारिश !

देहरादून. देवभूमि उत्तराखंड के लोगों को बारिश से राहत मिलने की उम्मीद नजर नहीं आ रही है क्योंकि राज्य में एक बार फिर आसमान से आफत बरस सकती है. दरअसल मौसम विज्ञान केंद्र देहरादून ने एक बार फिर उत्तराखंड में कई जिलों के लिए अतिवृष्टि के मद्देनजर येलो अलर्ट जारी किया है.

मौसम विभाग के अनुसार, 6 अगस्त को प्रदेशभर में कई जगह बादल बरसने के आसार हैं. मौसम विभाग ने मंगलवार के लिए येलो अलर्ट जारी किया है, जिसमें उत्तरकाशी, चमोली, पिथौरागढ़, रुद्रप्रयाग, टिहरी, देहरादून, बागेश्वर, अल्मोड़ा, चंपावत और नैनीताल की अधिकांश जगहों पर भारी बारिश की संभावना है.

5 अगस्त यानी सोमवार की सुबह राजधानी देहरादून में धूप खिली रही लेकिन दोपहर बाद मौसम का मिजाज बदला और बारिश होने लगी. मौसम विभाग के अनुसार, 6 अगस्त को भी प्रदेश के कई इलाकों में भारी वर्षा होने से लोगों के लिए मुश्किल खड़ी हो सकती है. देहरादून मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह ने जानकारी दी है कि पर्वतीय इलाकों में लगातार बारिश होने के कारण सॉइल की वॉटर होल्डिंग कैपेसिटी सैचुरेशन तक पहुंच गई,

जिसके चलते लैंडस्लाइड की घटनाएं देखने को मिलती हैं. इसी वजह से बरसात के मौसम में लोगों को यात्रा से परहेज करने की नसीहत दी जा रही है ताकि वह अपने घरों में सुरक्षित रह सकें. लोग अभी भी अगर पहाड़ी इलाकों में यात्राएं कर रहे हैं, तो उनसे सावधानी बरतने की अपील की जा रही है.

गौरतलब है कि 31 जुलाई गढ़वाल मंडल के कई जिलों में भारी बारिश हुई थी. अतिवृष्टि के चलते केदारनाथ मार्ग बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया. जगह-जगह सड़क टूट गई. कई जगहों पर पहाड़ का मलबा आ गिरा. गौरीकुंड से केदारनाथ धाम तक 16 किलोमीटर का रास्ता है, जिसमें 10 जगह मार्ग पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया.

लोक निर्माण विभाग की टीम मलबा हटाते हुए सड़क दुरुस्त कर मार्ग खोलने में जुटी हुई है. उधर सेना ने भी मोर्चा संभाल लिया है. क्षतिग्रस्त रास्तों को सही स्थिति में लाने के लिए लगभग एक महीने का समय लग सकता है. अब तक 10 हजार से ज्यादा श्रद्धालुओं को रेस्क्यू किया जा चुका है.

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