शरद पूर्णिमा पर चंद्रग्रहण

उदय दिनमान डेस्कः 28 अक्टूबर को शरद पूर्णिमा है और इसी दिन चंद्र ग्रहण भी है.ज्योतिष के मुताबिक इस दिन विशेष योग बनने जा रहा हैं. इस दिन सत्यनारायण के व्रत में इंद्र और लक्ष्मी की पूजा भी की जाती है. यह आश्विन शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा भी होगी. इससे अद्भूत संयोग बन रहा है.भारतवर्ष में चंद्र ग्रहण पूरी तरह से दिखाई देगा.

28 अक्टूबर चंद्र ग्रहण दिखाई देने का समय रात्रि 1 बजकर 5 मिनट 18 सैंकड पर शुरू होगा और रात्रि 2:24 पर मोक्ष होगा.भारत के अलावा यह चंद्र ग्रहण ऑस्ट्रेलिया,अफ्रीका,अमेरिका,कनाडा, हिंद महासागर में भी दिखाई देगा.ज्योतिष के मुताबिक इसमें 9 घंटे पहले विशेष सावधानियां भी रखनी होंगी. सूर्य ग्रहण में 12 घंटे पहले सूतक प्रारंभ हो जाता है.जिसमें किसी तरह का खान-पान नहीं करते.लघु शंका या दीर्घ शंका से भी बचने का प्रयास रहता है.

सूर्य ग्रहण और चंद्र ग्रहण के समय पर्यावरण को असुरक्षित ना करें.इसके लिए भी विशेष सावधानियां बरतनी होती हैं.इस दौरान खास तौर पर पूजा का विधान भी है.मगर जो लोग बुजुर्ग हैं, बीमारी से पीड़ित हैं या चल फिर नहीं सकते वह स्नान पूजा-अर्चना,दान-पुण्य आदि कर सकते हैं और ऐसे लोगों को खाने-पीने की मनाही भी नहीं रहेगी.

क्योंकि हमारा सबसे पहला धर्म शरीर की रक्षा करना है और इसका सूतक शाम के 4 बजकर 5 मिनट 18 सैकंड पर शुरू हो जाएगा.इसीलिए रात्रि का भोजन भी बाधित रहेगा क्योंकि सूतक के समय खाना बनाना और खाना निषेध माना जाता है.हिंदू धर्म पंचांग के अंदर केवल दो राशि ऐसी हैं जिनके लिए अच्छा प्रभाव भी दिखाया गया है.कुंभ और मकर सिर्फ दो राशियों के लिए शुभ माना गया है.अन्यथा सभी के लिए चिंता रोग या कोई हानि अर्थ भी दर्शाये गए हैं.

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